हैलो दोस्तो आज हम Computer Worms के बारे मे बात करने वाले है, कंप्यूटर वर्म क्या है (What is Computer Worms in Hindi), कंप्यूटर वर्म के प्रकार (Types of Computer Worms in Hindi), यह हमारे Computer को कैसे नुकसान पहुचाता है? इसको कैसे पहचाने, कैसे दूर करें और इससे कैसे बचे? आज हम इन सभी के विषयों के बारे मे देखने वाले है तो चलिये शुरू करते है विस्तार रूप से की, Computer Worms Kya Hai?
सन 1975 में पहली बार “Computer Worm” शब्द का उल्लेख जॉन ब्रूनर (John Brunner) के उपन्यास “The Shockwave Rider” में बताया था। कंप्यूटर विज्ञान की जगत मे शुरुआत के दिनों में, Worms का इस्तेमाल Computer की कमजोरियों को पहचानने के लिए बनाया किया गया था। यह पहले कंप्यूटरों को गंभीर रूप से नुकसान नहीं पहुचाते थे बल्कि ये Worms अपने आप को Copy करके कम्प्युटर की कमजोरियों को पहचानते थे।
लेकिन आज के समय मे Computer Worm का उद्देश्य बदल गया है। वर्तमान मे साइबर अटैक इतना ज्यादा बढ़ गया है की अधिकतर Attackers इसका इस्तेमाल कंप्यूटर यूसर्स के सिस्टम का Full Access पाने के लिए करते हैं।
Worms भी Computer Virus की तरह जैसा ही होता है जो हमारे कंप्यूटरो को बहुत नुकसान पहुचाता है लेकिन ये Worm अपने आप मे एकदम स्वतन्त्र होते है। इसको किसी दूसरे कम्प्युटर मे फैलने के लिए किसी व्यक्ति माध्यम की जरूरत नहीं होती बल्कि ये अपनी खुद की Multiple Copy करके नेटवर्क के जरिये अधिक से अधिक कंप्यूटरों में फैलता है।
यह Computer Worms कंप्यूटर उपयोगकर्ता तथा कंपनियों के लिए विशेष रूप से अधिक खतरनाक होते है जो उनके कम्प्युटर की महत्वपूर्ण डाटा फाइलों को Delete कर सकते हैं तथा कंप्यूटर की प्रोसेसिंग स्पीड को धीमा कर देता है जिससे कम्प्युटर के प्रोग्राम काम करना बंद हो जाता हैं।
कंप्यूटर वर्म क्या है (What is Computer Worms in Hindi)
Computer Worm एक Malicious प्रोग्राम है जो यह अपने आपको अधिक से अधिक Multiple Copy करके नेटवर्क कनेक्शन के जरिये कंप्यूटरों मे फैलता हैं। आमतौर पर Computer Worm कंप्यूटर फ़ाइलों को संक्रमित नहीं करता है, बल्कि नेटवर्क पर किसी दूसरे कंप्यूटर को अधिक संक्रमित करता है।
कंप्यूटर वर्म और वायरस के बीच अंतर यह भी है की Computer Worms स्टैंड-अलोन (एक अकेला) प्रोग्राम होते है जो खुद की Repblica बनाते रहते है और प्रोग्राम की Background मे चलते है जबकि वाइरस सिस्टम को संक्रमित करने के लिए किसी एक कम्प्युटर की होस्ट File की जरूरत होती है।
Computer Worms कंप्यूटर वायरस की एक प्रकार की श्रेणी मे ही बांटा गया है, लेकिन इसकी अलग कई विशेषताएं हैं जो Computer Worm को दूसरे Computer Virus से अलग करती हैं। कंप्यूटर वाइरस मानव की गतिविधि जैसे प्रोग्राम चलाने, फ़ाइल खोलने, संक्रमित ई-मेल अटेचमेंट खोलने आदि के जरिये कम्प्युटर मे फैलता है, जबकि Computer Worm मानव गतिविधि के बिना स्वचालित रूप से कंप्यूटरों मे फैलने की क्षमता रखता हैं। यह अक्सर उपयोगकर्ताओं के Email Contacts को बड़ी मात्रा पर Email भेजने के माध्यम से फैलता है, जब संक्रमित Emails खोले जाते हैं।
Computer Worms आपके Computer पर कमजोर सिक्योरिटी वाले सॉफ्टवेयर मे Backdoors इंस्टॉल करके आपके सिस्टम को Access कर सकते है तथा संवेदनशील जानकारी भी चुरा सकते है, और फ़ाइलो को Corrupt व अन्य प्रकार के नुकसान भी पहुंचा सकते है इसलिए Worms से अपने डाटा की सुरक्षित रखना बहुत महत्वपूर्ण है। Worms बड़ी मात्रा में मेमोरी और साथ ही साथ बैंडविड्थ Consume करते हैं। इससे सर्वर, यूसर्स के सिस्टम और नेटवर्क अधिक ओवरलोड होने के कारण खराब हो जाते हैं।
कंप्यूटर वर्म कैसे फैलता/कार्य करता है (How Do Worm Virus/Computer Worms Work or Spread in Hindi)
Computer Worms आपके कंप्यूटर नेटवर्क और ऑपरेटिंग सिस्टम (OS) में छिपी कमजोरियों का फायदा उठाकर कम्प्युटर मे ऐसे नेटवर्क के रास्ते से घुसते है जहा पर अक्सर किसी का ध्यान नहीं होता हैं। अक्सर हैकर ईमेल या इंस्टेंट मैसेज Malicious अटैचमेंट फ़ाइल के साथ भेजते है। ये हैकर या साइबर क्रिमिनल इस तरह की Phishing करते है ताकि प्राप्तकर्ता ये Malicious प्रोग्राम फ़ाइले खोलने को इच्छुक हो।
जब गलती से उपयोगकर्ता अटैचमेंट या लिंक फ़ाइल खोलता है तो मैलवेयर (Computer Worm) तुरंत सिस्टम में स्वचालित रूप से डाउनलोड करने लगते है या किसी मालिसियस वेबसाइट पर निर्देशित हो जाता है। Worms एक बार Computer मे आने पर खुद को Replicate करने लगता है और दूसरे सिस्टम मे घुसने का रास्ता देखता हैं।
Worms फ़ाइलों को Delete करने और उन्हे Modify करने की क्षमता रखते हैं। वैसे तो Worms का पहला मिशन खुद को बार-बार दोहराने का होता है, और सिस्टम संसाधनों जैसे बैंडविड्थ, प्रोग्राम फ़ाइल या हार्ड ड्राइव स्पेस को बर्बाद करने के लिए होते हैं। हैकर भी Worms की मदद से Backdoor इंस्टॉल करके कंप्यूटर का Access ले सकते है, इससे आपके संवेदनशील डेटा को चुरा या डिलीट कर सकते हैं।
इसके पहले कई सालो तक जब लोग ज्यादा इंटरनेट नहीं चलाते थे, तो Worm मैलवेयर किसी नेटवर्क मे घुसने के लिए भौतिक डिवाइस साधनों पर निर्भर थे। जैसे हैकर या साइबर क्रिमिनल को अपना Worm वाइरस रखने के लिए सीडी, डीवीडी, पेनड्राइव या फ्लॉपी डिस्क या अन्य मीडिया ड्राइव का इस्तेमाल करते थे, तथा उसे दूसरे कंप्यूटर में डालने के लिए विक्टिम व्यक्ति की प्रतीक्षा करते था, ताकि उसका गलत इस्तेमाल कर सके। लेकिन आज वर्तमान मे, साइबर क्रिमिनल के लिए इलेक्ट्रॉनिक साधनों के जरिये जैसे ईमेल, इंस्टेंट मेसेजिंज सर्विस और फ़ाइल-शेयरिंग नेटवर्क से Worm मैलवेयर का शिकार आसानी से बना लेते हैं।
कंप्यूटर वर्म के प्रकार (Types of Computer Worms in Hindi)
Internet Worms
यदि आप कोई भी जानकारी इंटरनेट पर सर्च करने के लिए कमजोर या संक्रमित सिस्टम का उपयोग करते हैं, तो Worm इंटरनेट पर ऐसे Computer को ढूंढता है जिनको आसानी संक्रमित कर सके। यदि ऐसे सिस्टम मिलते है, तो ये उनको संक्रमित कर देता है। जिस सिस्टम मे एंटीवायरस इन्स्टाल नहीं होते हैं, ये Worms आसानी से उस सिस्टम को प्रभावित कर देते हैं। ये Worms इंटरनेट या स्थानीय क्षेत्र नेटवर्क (Local Area Network) कनेक्शन के माध्यम से भी फैलता हैं।
Email Worms
Email Worms अधिकतर ईमेल अटैचमेंट द्वारा फैलते है। ईमेल मे Infected लिंक या अटैचमेंट होते है, जो एक बार क्लिक होने पर डाउनलोड होकर सिस्टम मे जगह बना लेता है। यह Worms संक्रमित सिस्टम के ईमेल संपर्कों को ढूँढकर लिंक भेजने की कोशिश करता है ताकि वे सिस्टम भी नष्ट कर पायें।
आमतौर पर ईमेल अटैचमेंट मे डबल फ़ाइल एक्सटेंशन जैसे (.mp4, .exe या .avi.exe) होते है, इससे यूसर्स ये सोचता है की ये मीडिया फाइलें हैं, कोई मैलवेयर प्रोग्राम नहीं हैं जिससे यूसर्स उस पर क्लिक कर सकता हैं। Email Eorm का एक उदाहरण “ILOVEYOU” वर्म वाइरस है। जो सन 2000 में Email Messege मे “ILOVEYOU” सब्जेक्ट लाइन के साथ भेजा गया था। ये 10 मिलीयन से अधिक कंप्यूटरों को Infected किया था।
File Sharing Worms
जब किसी Unknown Source से कोई फ़ाइल Download किया जाता है तो उस फ़ाइल मे Worms वाइरस होने की संभावना हो सकती है। ये Worm कंप्यूटर में ऐसे फोल्डर के नाम से Save हो जाते है जिससे हमे जरा भी शक नहीं होता है की Worm इस फोंल्डर में मौजूद हो सकता है। दुनिया भर में आज भी लाखों लोगों द्वारा फ़ाइल शेयरिंग और पीर-टू-पीर फ़ाइल ट्रांसफर नेटवर्क के माध्यम से किए जाते है, जबकि ये फ़ाइल शेयरिंग नेटवर्क कम से कम कानूनी क्षेत्र में काम करते हैं, बड़े पैमाने पर यह अवैध हैं।
इसलिए हैकर्स के लिए बड़ी फ़ाइलों में Worm Malware को बनाना आसान हैं। जब आप इस Infected फ़ाइलों को डाउनलोड करते हैं, तो Worms आपके Computer पर खुद की कॉपी करने लगता है। सन 2004 में “Phatbot” नाम का वर्म Files Sharing के माध्यम से बहुत से कंप्यूटरो को संक्रमित किया था।
Instant Messaging Worms
ये वर्म Email Worm की तरह ही होते है। इनमे सिर्फ फैलने का तरीका अलग होता है। ये वर्म कोई Chat Messanger (Whatsapp, Skype आदि) के जरिये संपर्क में आने से फैलता है, जिसमे चैट मैसेज में कोई लिंक होता है, जब लिंक खोला जाता है, तो सिस्टम वायरस की चपेट में आ सकता है। हालांकि ये वर्म दूसरे वर्म की तरह इतना प्रभावी नहीं होते हैं। उपयोगकर्ता चाहे तो मैसेज को डिलीट करके तथा पासवर्ड बदलकर इस Worms को नष्ट कर सकते हैं। अक्सर यह “LOL” या कोई आकर्षित जैसे छोटे संदेश हैं जिस कारण उपयोगकर्ता क्लिक करने की सोचता है, कि ये कोई मज़ेदार चीज है।
कंप्यूटर वर्म के कुछ उदाहरण (Computer Worms Examples in Hindi)
Morris Worm
Morris Worms, 1988 मे रॉबर्ट मॉरिस ने लॉन्च किया था। उन्होंने अनजाने मे कुछ ऐसे कोड बनाए थे जिसमे बहुत सारा bugs था, जों यह संक्रमित होस्ट मशीन को बहुत नुकसान पहुचा सकता था। मोरिस वर्म यूनिक्स (UNIX) पर हजारों ओवरलोड कंप्यूटर चलाये जा रहे थे, जिसकी कीमत अनुमान 10 मिलियन डॉलर से 100 मिलियन डॉलर के बीच वित्तीय नुकसान था। इसके लिए रॉबर्ट मॉरिस को कंप्यूटर धोखाधड़ी और दुर्व्यवहार अधिनियम के तहत दोषी ठहराया गया था।
Storm Worm
यह वर्म एक तरह का Email Worm है, जों 2007 मे आया था। इसमे लोगो के ईमेल मे एक झूठी खबर फैलाया गया था। जों ईमेल मैसेज मे “मौसम आपदा” की सूचना दी गयी थी। जिसमे ये लिखा था की “मौसम आपदा मे पूरे यूरोप में सैकड़ों लोगों की जान चली गयी थी”, अभी तक 1.2 बिलियन से अधिक ईमेल Storm Worm से संक्रमित हुए है, जों 10 वर्षों के दौरान भेजे गए हैं।
SQL Worm
इस कंप्यूटर वर्म के फैलने का तरीका बहुत अलग ही था। यह अचानक से IP addresses की एक श्रृंखला तैयार करता था और इसकी कॉपी करके खुद दूसरे Computer एड्रेस पर भेज देता था, जों कंप्यूटर एंटिवाइरस साफ्टवेयर से सुरक्षित नहीं थे। 2003 में SQL Worm फैला हुआ था जिसमे 75,000 से ज्यादे संक्रमित कंप्यूटर कई बड़ी वेबसाइटें DDoS के हमलों का शिकार हुए थे। इसके अलावा और भी बहुत से प्रचलित ILOVEYOU, MSBlast और Michelangelo Worms थे।
कंप्यूटर वर्म को कैसे पहचाने (How do Recognize a Computer Worms in Hindi)
कंप्यूटर उपयोगकर्ताओं को Computer Worm के लक्षणों से जरूर परिचित होना चाहिए, जिससे सिस्टम से जल्द से जल्द संक्रमण की पहचानकर तथा Computer Worm निकालने का काम शुरू किया जा सकें। कंप्यूटर वर्म के कुछ मुख्य लक्षण निम्न प्रकार हैं:
- Computer का परफॉरमेंस धीमा हो जाना
- कंप्यूटर में अचानक असामान्य व्यवहार होना (Pictures, Messages, Sound, इत्यादि)
- कंप्यूटर फ़ायरवॉल की चेतावनी
- सिस्टम फ्रीज होना या क्रैश हो जाना
- सॉफ्टवेयर प्रोग्राम का अपने आप से खुलना और चलना
- उपयोगकर्ता की जानकारी के बिना दूसरों को भेजा गया ईमेल
- अजीब और बिना पहचान की डेस्कटॉप फाइलें और आइकन बन जाना
- वेब ब्राउज़र में लिंक दूसरे साइट पर अपने आप निर्देशित होना
- फ़ाइल गायब हो जाना या बदल जाना
- ऑपरेटिंग सिस्टम या सिस्टम में त्रुटियो का बार-बार मैसेज आना
कंप्यूटर वर्म को कैसे दूर करे (How can Remove Computer Worms in Hindi)
1. Computer worms को हटाने के लिए कई स्टेप लिए जाते है। पहले यह जरूरी है कि Worm हटाने के लिए कोई भी प्रक्रिया करने से पहले इंटरनेट और किसी भी Local Area Networks कनेक्शन से कंप्यूटर से डिसकनेक्ट कर देना चाहिए।
2. सबसे पहले कंप्यूटर सिस्टम में उच्च और अच्छी क्वालिटी का एंटीवायरस सॉफ्टवेयर इंस्टॉल किया जाना चाहिए। एंटीवायरस सॉफ्टवेयर कोई अच्छी कंपनी का होना चाहिए। क्योंकि अक्सर नकली एंटीवायरस प्रोग्राम मे मैलवेयर भी हो सकते हैं।
3. अपने सिस्टम को एंटीवायरस सॉफ्टवेयर के साथ पूरी तरह स्कैन करें। ताकि जो कोई भी मैलवेयर वायरस हो, उसका पता चले और उसे नष्ट कर सके।
4. यदि कंप्यूटर स्कैनिंग के दौरान Computer Worm या अन्य मैलवेयर पाए जाते हैं, तो आमतौर पर एंटी-वायरस उसे सिस्टम से अपने आप डिलीट कर देता है।
5. यदि एंटी-वायरस सॉफ्टवेयर स्वचालित रूप से Worms को दूर नहीं कर पाता है, तो उसी कंप्यूटर के Worm हटाने के लिए किसी एक्सपर्ट से सलाह या ऑनलाइन जाँच कर लेना चाहिये।
6. कंप्यूटर का ऑपरेटिंग सिस्टम सॉफ्टवेयर Up-To-Date होना चाहिए और सभी सॉफ्टवेयर की वर्तमान Patches इंस्टॉल हो।
7. Worms सिस्टम से हट जाने बाद एंटीवायरस सॉफ्टवेयर को फिर से स्विच ऑन किया जाना चाहिए। यह सिस्टम रिकवरी के लिए होता हैं।
सिस्टम को कंप्यूटर वर्म से कैसे बचाये (How can Protect System from Computer Worms)
Safe Behavior
उपयोगकर्ता को कोई फ़ाइल या अटैचमेंट लिंक सिर्फ तभी खोलना चाहिए, जब Trustworthy स्रोत से आते हैं। किसी अज्ञात Sender द्वारा भेजे हुए Email को नहीं खोलना चाहिए, क्योकि बहुत से कंप्यूटर Worms ईमेल के जरिये फैलते हैं।
Regular Updates
ऑपरेटिंग सिस्टम और दूसरे सॉफ्टवेयर को Regular Updates के साथ Up-To-Date रखना चाहिए। सॉफ्टवेयर निर्माता कंपनीयो के आने वाले अपडेट में अक्सर Security Patches होते हैं जो आपके Computer को नये Worms Virus से बचाते हैं और सिस्टम की गलतियों को ठीक कर देते हैं।
Antivirus Softwar
Antivirus सॉफ्टवेयर कंप्यूटर को Worm से बचाने के लिए पहले से ही इन्स्टाल कर लेना चाहिए। यह ऐसा सॉफ्टवेयर है जो कंप्यूटर को Worms, Virus, Trojans और अन्य प्रकार के मैलवेयर से सुरक्षित रखता है। यह कंप्यूटर मे सभी फाइल को स्कैन करता है और नुकसान होने से बचाता हैं।
Firewall
Firewall एक ऐसा Security Tool है, जिसका इस्तेमाल Security Rules के अनुसार आने वाले और बाहर जाने वाले नेटवर्क ट्रैफ़िक पर नजर रखता है। यह साइबर हमलों से बचाने के लिए आंतरिक और बाहरी नेटवर्क के बीच गतिविधि को रोकने का कार्य करता है।
Protect Email Inbox
अक्सर Computer Worm ईमेल द्वारा कंप्यूटरो पर हमला करते हैं। जैसे- Email Phishing के जरिये कंप्यूटर मे घुस जाते है। इसलिए ऐसे ईमेल जिनहे आप नहीं जानते है और ईमेल मे अज्ञात मैसेज लिंक और अटैचमेंट फ़ाइल है, तो उसे खोलने से नजरंअदाज करना चाहिए।
Encryption Files
File Encryption टेक्नोलॉजी कंप्यूटर, सर्वर या दूसरे डिवाइस में रखे हुए संवेदनशील डाटा को सुरक्षित रखता हैं, क्योंकि इसमें आपके डाटा Encrypt Form में होते है। इससे वर्म इन फाइलों नुकसान नहीं पहुचा पाता हैं।
निष्कर्ष:
हाँ तो दोस्तो उम्मीद है यह ब्लॉग आपको पसंद आया होगा। इस ब्लॉग मे हमने देखा की, कंप्यूटर वर्म क्या है (What is Computer Worms in Hindi), वर्म कितने प्रकार के होते है, इसको कैसे पहचाने और दूर करें आदि। वैसे आज की समय मे साइबर क्राइम इतना ज्यादा बढ़ गया है, की इंटरनेट पर जरा-सी गलती होने पर लोग इसका शिकार हो जाते है। इसलिए अपने सिस्टम डाटा की ज्यादा से ज्यादा सुरक्षित रखे।
इसके अंतर्गत मैंने Computer Worm के बारे मे महत्वपूर्ण जानकारी सांझा की है। उम्मीद है आपको ये ब्लॉग (Computer Worms क्या है) पढ़कर अपने सवालों का जवाब मिल गए होंगे। यदि फिर भी इससे संबन्धित कोई सलाह/सुझाव है तो हमे कमेंट करके जरूर बताये। हम उसे जरूर पूरा करने की कोशिश करेंगे। अगर यह पोस्ट ज्ञानवर्धक लगा हो, तो कृपया इस पोस्ट को अपने दोस्तो और सोशल मीडिया पर जरूर शेयर करे, धन्यवाद!